प्रदर्शनकारी कोटेदारों ने पात्र गृहस्थी और अंत्योदय योजना के तहत दिए जाने वाले कमीशन में वृद्धि की मांग की। उनका कहना है कि लंबे समय से कमीशन में कोई बढ़ोतरी नहीं हुई है, जिसके चलते सरकारी राशन वितरण घाटे का सौदा बन गया है।
उचित दर विक्रेताओं ने कलेक्ट्रेट में उठाई आवाज, सरकारी कमीशन बढ़ाने की मांग
आज कलेक्ट्रेट परिसर में सरकारी उचित दर विक्रेताओं (कोटेदारों) ने डीएम कृतिका ज्योत्सना के कार्यालय के सामने जोरदार प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारी कोटेदारों ने पात्र गृहस्थी और अंत्योदय योजना के तहत दिए जाने वाले कमीशन में वृद्धि की मांग की। उनका कहना है कि लंबे समय से कमीशन में कोई बढ़ोतरी नहीं हुई है, जिसके चलते सरकारी राशन वितरण घाटे का सौदा बन गया है। कोटेदारों का कहना है कि मौजूदा कमीशन के तहत वे अपने खर्चे नहीं निकाल पा रहे हैं, जिससे उन्हें वित्तीय समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। उनका आरोप है कि सरकार की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया जा रहा है, जबकि राशन वितरण प्रणाली को सुचारु रखने के लिए कमीशन में वृद्धि अत्यंत आवश्यक है। प्रदर्शन के दौरान उन्होंने अपने पूर्व में किए गए मांग पत्रों का भी उल्लेख किया, जिनमें कमीशन बढ़ाने की पुरजोर मांग की गई थी।
इस मुद्दे पर जिला पूर्ति अधिकारी जीवेश कुमार मौर्य ने स्पष्ट किया कि कमीशन में बढ़ोतरी का निर्णय शासन स्तर पर लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह मामला स्थानीय स्तर से संबंधित नहीं है और पहले भी विक्रेताओं का मांग पत्र शासन को भेजा जा चुका है। इसके बाद शासन स्तर पर ही इस पर अंतिम निर्णय लिया जाएगा। विक्रेताओं ने चेतावनी दी है कि अगर उनकी मांगों पर जल्द निर्णय नहीं लिया गया, तो वे अपनी आवाज और बुलंद करेंगे। प्रदर्शन में शामिल विक्रेताओं ने कहा कि वे अपनी आजीविका को बचाने के लिए इस लड़ाई को जारी रखेंगे और अगर जरूरत पड़ी तो वे आगे बड़े आंदोलन की राह पकड़ सकते हैं। सरकारी राशन वितरण प्रणाली के कोटेदारों द्वारा उठाई गई यह मांग अन्य जिलों में भी गूंज रही है, जहां विक्रेता भी इसी प्रकार की समस्याओं से जूझ रहे हैं।
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