भारतीय रेलवे ने अमृत काल के दृष्टिकोण के तहत अमृत संवाद की शुरुआत की। स्वच्छता ही सेवा 2025 अभियान में लाखों लोगों की भागीदारी, पौधारोपण, रीसाइक्लिंग, ट्रैक और जलस्रोत सफाई जैसी ऐतिहासिक उपलब्धियाँ दर्ज की गईं।
प्रधानमंत्री द्वारा प्रतिपादित अमृत काल के दृष्टिकोण और पंच प्रण के सिद्धांतों पर चलते हुए रेल मंत्रालय ने विशेष अभियान 5.0 के तहत अमृत संवाद की शुरुआत की है। यह पहल भारतीय रेलवे और नागरिकों के बीच सीधा संवाद स्थापित करने पर केंद्रित है।
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर आयोजित अमृत संवाद में रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्री सतीश कुमार ने यात्रियों से मुलाकात की और स्टेशनों पर किए गए सुधारों पर उनकी प्रतिक्रिया जानी। उन्होंने स्वच्छता ही सेवा अभियान में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले 8 सफाई मित्रों और स्वच्छता-थीम आधारित पेंटिंग प्रतियोगिता के 3 छात्र विजेताओं को सम्मानित किया।
रेलवे द्वारा बताया गया कि अमृत संवाद 2 अक्टूबर से 31 अक्टूबर तक पूरे देश में अमृत स्टेशनों और अन्य प्रमुख स्टेशनों पर आयोजित होगा। इसमें यात्रियों से सुविधाओं पर फीडबैक लेने के साथ आगे के सुधारों पर सुझाव भी जुटाए जाएंगे।
अमृत भारत स्टेशन योजना के अंतर्गत लागू सुधारों में शामिल हैं:
- उन्नत प्रतीक्षालय और शौचालय
- बेहतर लिफ्ट, एस्केलेटर और सूचना प्रणाली
- मुफ़्त वाई-फ़ाई और “एक स्टेशन एक उत्पाद” कियोस्क
- सौंदर्य संवर्धन और भूनिर्माण
- दिव्यांगजनों के लिए सुगम सुविधाएँ
सुधारों के अगले चरण में रेलवे यात्री परिवहन प्रणालियों का एकीकरण, अतिरिक्त सुविधाएँ, ऊर्जा-कुशल समाधान और बेहतर प्लेटफ़ॉर्म कवर पर ध्यान देगा।

इसी दौरान स्वच्छता ही सेवा 2025 अभियान (17 सितम्बर से 2 अक्टूबर) के अंतर्गत भारतीय रेलवे ने विशाल स्तर पर गतिविधियाँ कीं। मुख्य उपलब्धियों में शामिल हैं:
- 2,40,856 लोगों ने स्वच्छता शपथ ली
- 2,452 जनजागरूकता कार्यशालाएँ
- 1,117 स्वास्थ्य शिविर
- 26,059 PPE उपकरण वितरित
- 215 मैराथन, 239 साइक्लोथन, 663 वॉकएथन
- 74,078 पौधे लगाए गए
- 1,222 कचरे से कलाकृतियाँ
- ₹2.55 करोड़ के रीसायकल उत्पाद
- 97,63 घर-घर जागरूकता अभियान
- 1,556 सार्वजनिक शौचालय और ट्रेनों की सफाई
- 364.558 टन प्लास्टिक हटाया गया
- 2,898.29 टन स्क्रैप इकट्ठा
- 1,096.6 किमी रेलवे ट्रैक साफ किए गए
- 262 जलस्रोत साफ़ किए गए
- 1,146 सफाई मित्रों को सम्मानित किया गया
रेल मंत्रालय का मानना है कि यह पहल केवल साफ-सफाई तक सीमित नहीं है बल्कि नागरिकों की भागीदारी को मज़बूत कर भारतीय रेलवे को आधुनिक, टिकाऊ और यात्री-अनुकूल बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है।
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